क्राइम

रही फ़र्ज़ी कॉल पर फ़ोन कैसे पहचानें? डिजीटल अरे इथियोपिया से बचना है तो अपना लें साइबर एक इंस्टॉलेशनपार्ट के ये टिप स्थान

अभी तक डिजीटल एरियल के मामले में देखा गया था कि कई दिनों तक साइबर इंडिविजुअल्स के घर में ऑनलाइन रहने वाले लोग अपने लाखों रुपये उड़ावा बैठे या पूरे खाते में ही खाली हो गए उत्तर प्रदेश के आगरा से हाल ही में डिजिटल एरे वास्तु का ऐसा पौराणिक प्रसंग सामने आया था जिसे सभी ने रोंगटे कर लिया था। साइबर्स ने एक टीचर्स के मोबाइल फोन पर वॉट्सएप कॉल कर बेटी के सेक्स के बारे में जानकारी दी। सिर्फ इतना ही नहीं उसकी बेटी को छुड़वाने के लिए दोस्तों ने एक लाख रुपये की डिक्की भी कर डाली। इस कॉल से टीचर्स को ऐसा सदमा लगा कि उन्हें हार्टअटैक आ गया और लैपटॉप-प्लेटफार्म से उनकी मौत हो गई…

एफ़एलएसी पुलिस के साइबर साइंटिफिक कंपनी के एक अलोकप्रिय पार्ट किसलय चौधरी का कहना है कि पिछले कुछ महीनों से एफ़एलएसी पुलिस के साइबर क्राइम के लिए डिजिटल एरे इमार्टा का तरीका अपनाना शुरू कर दिया गया है। ये लोग व्हाट्सएप पर वीडियो या वीडियो कॉल करते हैं, अबाबा ये पुलिस वाले, बदमाश, सी डेटाबेस, बैंक वाले या ऐसे ही कुछ नकली प्रोफाइल वाले कॉल करते हैं और एक ऐसी शानदार तैयारी कर देते हैं कि सामने वाला पूरी तरह से अपने दोस्तों में आ जाता है जो वे निर्माण करते हैं वे वही करते हैं।

ये भी पढ़ें

मोबाइल फ़ोन की लत में फंस गया है स्टॉका? डॉ. पढ़े 5 आसान टिप्स, खुशी-खुशी खुद छोड़ें देखें

ये साइबर क्रिमिनल वीडियो कॉललोकेशन पर डिजिटल अरे मोर्टार कि साइंटिस्ट-धमाकेते और गंदी-गंदी गालियां तक ​​देते हैं। ये प्रतिष्ठान, साधु संबंधियों और साधुओं को खुद के केस में फंसाने आदि की खतरनाक चीजें देते हैं। ऐसे में कई बार इलेक्ट्रॉनिक्स डर के मारे गए अपना आधार नंबर, पोर्टेबल अटैचमेंट अटैचमेंट, ओपीटीपी, ईमेल कार्ड तक दे देते हैं और खाली नक्काशीदार पार्टियाँ दे देते हैं। कई बार खुद ही पास-पास पोस्ट भी कर देता है। इस समय यह सबसे कॉमन फ्रॉड बन गया है। साइबर क्राइम करने वाले ये लोग भारत से भी हैं और विदेशों से भी हैं. ये तूफ़ान का मिश्रण हैं और बहुत सारे लोग इस हनी ट्रैप कैम में आसानी से फंस जाते हैं।

जान लें ये जरूरी बातें..
किसलय चौधरी कहते हैं कि डिजिटल एरे को लेकर पार्टनर भी मामले में सामने आ रहे हैं, उन सभी मंडल में कि ये कॉल अनूठे नंबरों से या वत्सएप पर आते हैं। फोन करें अगर कोई कह रहा हो कि वह पुलिस स्टेशन से बोल रहा है, तो हमेशा याद रखें कि अगर कोई पुलिस फोन करता है तो वह आपको सीयूजी नंबर या लैंडलाइन नंबर से सामान कॉल करता है। पुलिस कभी व्हाट्सएप कॉल नहीं करती.

डरना है तो ना करें ये काम

. जब भी व्हाट्सएप, फेसबुक या इंस्टाग्राम पर किसी नंबर या प्रोफाइल से कॉल आया तो न करें।
. अगर पुलिस के फोटो वाले नंबर से कॉल आ रही है तो बिलकुल भी कॉल रिसीव न करें।
. अगर फोन भी उठाया है तो डरें नहीं और अपने बारे में या दोस्तों को लेकर कोई भी जानकारी साझा न करें। फ़ोन को तत्काल निर्देश.
. यदि फिर भी कोई फोन आ रहा है तो उसे इसकी सूचना पुलिस या एसोसिएटेड को सूचित करने के बजाय उठा लें।
. यह नंबर वैध नहीं है लेकिन पुलिस में शिकायत अवश्य करें।

लोग शिकायत न करें, ये सबसे बड़ी कमी
किसलय का कहना है कि इस तरह की वाट्सएप कॉल कनेक्शन को लेकर एक ट्रेंड देखने को मिला है कि अनोखे क्रैकर को लेकर पुलिस में बहुत कम हो रही है। लोग या तो नंबर को शॉकलॉक कर देते हैं, या उसे ऐसे ही छोड़ देते हैं, या डिलीट कर देते हैं। यह समाधान नहीं है. उस नंबर की साइबर की डिटेल पुलिस को निश्चित रूप से पकड़नी चाहिए। इसलिए पुलिस में शिकायत जरूर करें.

पुलिस प्रमाणन नहीं जाना तो करें ये काम
यदि आप अपनी शिकायत के लिए आवेदन पत्र में नहीं जा पा रहे हैं तो साइबर क्राइम हेल बेंचमार्क लाइन नंबर 1930 पर भी आप अपनी शिकायत दर्ज करा सकते हैं। या फिर नेशनल साइबर क्राइम पोर्टल पर भी अपनी याचिका रजिस्टार कर सकते हैं। यहां भी पूर्ण सक्रियता के साथ आपकी याचिका पर कार्रवाई होती है।

टैग: साइबर अपराध, साइबर अपराध समाचार, साइबर धोखाधड़ी, साइबर पुलिस, दिल्ली साइबर धोखाधड़ी

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *