यूपीएससी की सफलता की कहानी गामिनी सिंगला महिला से मिलें जिन्होंने यूपीएससी की तैयारी के लिए जेपी मॉर्गन की नौकरी ठुकरा दी और आईएएस अधिकारी बन गईं
यूपीएससी सफलता कहानी: यूपीएससी की परीक्षा को देश की सबसे मुश्किल परीक्षाओं में से एक माना जाता है. हर साल लाखों युवा इस परीक्षा को देने के लिए तैयारी कर अपना भाग्य आजमाते हैं लेकिन कुछ सौ युवा ही अंतिम पड़ाव तक अपनी जगह बना पाते हैं. ऐसे ही युवाओं में एक है गामिनी सिंगला, जिसने आईएएस ऑफिस बनने के लिए मोटी सैलरी वाली नौकरी छोड़ दी. आइये जानते हैं गामिनी के बारे में…
चंडीगढ़ के पंजाब इंजीनियरिंग कॉलेज से किया बीटेक
मूल रूप से पंजाब के आनंदपुर साहिब की रहने वाली 23 साल की गामिनी ने 2019 में चंडीगढ़ के पंजाब इंजीनियरिंग कॉलेज से कंप्यूटर साइंस इंजीनियरिंग में बीटेक की पढ़ाई पूरी की. उनके पिता डॉ. आलोक सिंगला और मां डॉ. नीरजा सिंगला मेडिकल ऑफिसर हैं जबकि भाई आईआईटी से पढ़ाई कर रहा है. एक इंटरव्यू में गामिनी ने कहा था कि उनकी तैयारी के दौरान परिवार ने पूरा सपोर्ट किया. खासकर पिता ने इमोशनल और पढ़ाई में बहुत मदद की जिसकी वजह से उन्हें अपने लक्ष्य को हासिल करने में खासी मदद मिली.
बीटेक करते ही जुट गई थीं तैयारी में
चंडीगढ़ के पंजाब इंजीनियरिंग कॉलेज की पूर्व छात्रा रही गामिनी ने यूपीएससी की 2021 की परीक्षा में ऑल इंडिया तीसरी रैंक हासिल की थी. बीटेक करने के बाद ही उन्होंने यूपीएससी की तैयारी शुरू कर दी. हालांकि पहले प्रयास में वह प्रीलिम्स की परीक्षा भी पास नहीं कर सकी.
दूसरे अटेंप्ट में पास की परीक्षा
हालांकि इस झटके के बाद भी वह अपने लक्ष्य से नहीं भटकीं और तैयारी में जुटी रहीें. इस दौरान उनके परिवार खासकर पिता ने काफी सपोर्ट किया जिसकी बदौलत उन्हें आगे की तैयारी के लिए फोकस करने में मदद मिली. इसके बाद दूसरी बार परीक्षा में बैठीं और परीक्षा पास कर ऑल इंडिया 3वीं रैंक हासिल कर आईएएस बन गईं.
जेपी मॉर्गन की नौकरी को की थी न
बीटेक की पढ़ाई पूरी करने के बाद गामिनी को अंतर्राष्ट्रीय कंपनी जेपी मार्गन में काम करने का ऑफर मिला. अच्छी तन्ख्वाह, ग्रोथ के मौके और दुनिया देखने का मौका मिलने का सुनहरा अवसर था. फिर भी उन्होंने उस ऐश वाली नौकरी को छोड़कर यूपीएससी की परीक्षा पास कर आईएएस बनने के लक्ष्य को चुना और तैयारी में जुटी रहीं.
शिक्षा ऋण जानकारी:
शिक्षा ऋण ईएमआई की गणना करें