क्राइम

दुबई में अपराधी से भाग निकला, सालों बाद पुलिस के हाथ लगी बड़ी खबर, और फिर हो गया ये ‘कांड’

हवाई अड्डा अपराध समाचार: मोहम 24 साल की उम्र में इस लड़के को ऐसे-ऐसे गुल गिलाए कि दोस्त समेत कई साथियों की पुलिस ने पीछे छोड़ दिया। करीब साल भर तक इसके और पुलिस के बीच में मैं डाल-डाल और तू पात-पात का खेल खेलता रहा। अंतिम में, यह महसूस किया गया कि यदि वह देश में रह रहा है तो एक दिन पकड़ा जाएगा। विचार, उसने विदेश में पनाह लेने का निर्णय लिया।

अवसर मिला ही यह युवा भाग कर दुबई पहुंच गया। बिजनेस साल से यह दुबई में छिपा हुआ था। इसके अलावा इस युवा के दुबई दुबई के स्टार्टअप इंदिरा गांधी इंटरनेशनल एयरपोर्ट पुलिस तक पहुंच थी। एयरपोर्ट पुलिस ने इसके खिलाफ लुक आउट सरकुलर जारी कर देश के एयरपोर्ट को मंजूरी दे दी है। इसी बीच, साइबेरिया को लेकर एयरपोर्ट पुलिस को बड़ी खबर मिली।

खबर मिली है कि एयरपोर्ट पुलिस के जवानों पर हमला हो गया है। असल में, करीब साल भर तक दुबई में रहने के बाद, समोआ के पास पैसा नहीं बचा था कि वह अब वहीं रह सके। उसे यह भी पता था कि उसने हवाई अड्डे पर घुसपैठ करके उसे गिरफ्तार कर लिया था। देखो, अंतिम उपाय के रूप में भारत आने की योजना तैयार करें और वहां पहुंचें।

लेकिन पता चला कि आईजीआई एयरपोर्ट पुलिस ने उसके लिए पूरी योजना बना रखी है। समूह में भूमि पर संदीप के साथ ‘काण्ड’ हुआ और पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया। बता दें कि बैंडम एयरपोर्ट से गिरफ्तार हुए इस छात्र की पहचान संदीप सिंह के बारे में है। 24 साल संदीप सिंह मूल रूप से सीयामा (हरियाणा) के साहूवाला गांव का रहने वाला है।

ये है पूरा मामला
पुलिस उपायु खुराक (आइजीआइ एयरपोर्ट) उषा रंगनानी ने बताया कि यह मामला करीब साल पुराना है। वर्ष 29-30 अप्रैल की रात ब्युरो ऑफ इमिग्रेशन ने 20 वर्ष बलराम को आईजीआई एयरपोर्ट पुलिस के साथ किया था। मूल रूप से समुद्र तट (हरियाणा) के पान जुआना गांव में रहने वाले राम को दुबई से दुबई तक पहुंचाया गया था, जहां से फजीर वीर के बल को आईजीआई हवाई अड्डे के लिए भेजा गया था।

एयरपोर्ट पुलिस पर इमिग्रेशन की याचिका के आधार पर नेराम बल के खिलाफ धारा 420/468/471 के तहत दस्तावेजों की जांच शुरू की गई। पूछताछ के दौरान बलराम को पता चला कि वह विदेश में नौकरी की चाहत लेकर अपने एक दोस्त की मदद से संदीप कुमार तक पहुंचा था। बलराम ने अपने सहयोगियों की मदद से उन्हें दुबई के उद्यमों और व्यापारिक उद्यमों पर भरोसा दिलाया।

इस काम के कागजात में बलराम से एक लाख रुपये की मांग की थी। रुपये मिलने के बाद संदीप ने बलराम को दुबई के टिकट और वर्कशॉप के लिए बेच दिया। 28 अप्रैल 2023 को दुबई एयरपोर्ट से दुबई के लिए दुबई एयरपोर्ट पर मूर्ति दस्तावेज को जब्त कर लिया गया। लेकिन, दुबई फ्रेंचाइजी ने ही अपना पोल खोल दिया और उसे नकली दस्तावेजों के साथ अगला उपलब्ध फ़्लाइंग से उड़ा दिया गया।

अब तक 5 अरे आरती
उषा रंगरानी के मामले की गहन जांच के लिए इस मामले की गहन जांच की जा रही है. जांच में पता चला कि बलराम में फ़ारिगर राजकुमार राजकुमार के साथ संदीप के साथ जस्टिन सिंह, जस वकील और गौतम सिंह भी शामिल थे। जल्द ही तीन को गिरफ्तार कर लिया गया।

हालाँकि, संदीप पुलिस की मशीनरी भागने में सफल रही। करीब साल भर तक संदीप पुलिस की गर्लफ्रेंड से भागने के लिए दुबई में डूबा रहा। क्लोज डायरेक्टरी साल की के बाद बैनामा एयरपोर्ट से आईजीआई एयरपोर्ट पुलिस ने संदीप को भी गिरफ्तार कर लिया है। वहीं, संदीप ने पूछताछ में खुलासा किया कि वह 2021 में तूरी मास्टर-मार्जिन दुबई में गई थी, जहां उसकी मुलाकात कुछ एजेंट से हुई थी।

ये एजेंट लोगों को विदेश में नौकरी का सब्जबाग जिले के लोगों को ठगने का काम करते थे। कुछ समय बाद संदीप भारत वापस आ गया और लोगों की किस्मत पर लोगों ने विदेश में नौकरी का सब्जबाग छोड़ दिया। जाल में फंसने वाले लोगों से करोड़ों रुपये के स्वामित्व के बाद फैक्ट्री फैक्ट्री की कलाकृतियां पकड़ी गईं।

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