कोलकाता में बैठे जूनियर डॉक्टर की भर्ती, अस्पताल में भर्ती भर्ती
पश्चिम बंगाल के कोलकाता में पेट दर्द के बाद शहर के एक अस्पताल में बैठे डॉक्टर अनुस्तुप मुखर्जी को भर्ती कर लिया गया। रविवार को 10वें दिन में सैट जूनियर एलेक्टियर्स का प्रदर्शन शुरू हुआ। आधिकारिक प्राधिकारी ने बताया कि मुखर्जी को शनिवार देर रात कोलकाता मेडिकल कॉलेज और अस्पताल की क्रिटिकल केयर यूनिट (सीसीयू) में भर्ती किया गया था। वह पिछले 48 घंटे अस्पताल में भर्ती होने वाले तीसरे जूनियर डॉक्टर हैं। मुखर्जी से पहले डॉ. अनिकेत महतो और डॉ. आलोक वर्मा विशेष रूप से आरजी कर हॉस्पिटल और नॉर्थ बंगाल मेडिकल हॉस्पिटल में भर्ती के लिए गए। असत्यापित हो कि पश्चिम बंगाल जूनियर डॉक्टर्स फ्रंट के बैनर तले 31 वर्षीय ट्रेनी डॉक्टर के साथ बलात्कार और हत्या के बाद से विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं।
फर्म ने 10 सूत्री प्रावधानों का वर्गीकरण किया, जिसमें महिला डॉक्टर की मौत के लिए जिम्मेदार लोगों को कड़ी सजा दी गई और सरकारी गिरोह में शामिल लोगों की मौत के लिए जिम्मेदार लोगों को शामिल किया गया। उन्होंने राज्य के स्वास्थ्य सचिव नारायण स्वरूप निगम से भी हटाने की मांग की है। कल्याणी नेहरू मेमोरियल हॉस्पिटल, कल्याणी के लगभग 77 वकीलों ने रविवार को जूनियर वकीलों की मांगें नहीं माने जाने पर सामूहिक रूप से भर्ती की धमकी दी। 8 सरकारी निजीकरण से जुड़े सैकड़ों वरिष्ठ डॉक्टर, शिक्षक और प्रोफेसर पहले ही जूनियरों के साथ अपनी एकजुटता के लिए सामूहिक पत्र पर हस्ताक्षर कर चुके हैं। वे एस्प्लेनेड में स्टॉक एक्सचेंजों में भी शामिल हैं।
विरोध प्रदर्शन पर बंगाल सरकार का क्या कहना
पश्चिम बंगाल सरकार ने शनिवार को स्पष्ट किया कि विभिन्न सरकारी मेडिकल उद्यमों और वरिष्ठ नागरिकों के सामूहिक दावे की कोई कानूनी कीमत नहीं है। मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के मुख्य सलाहकार अल्पन बंद्योपाध्याय ने राज्य सचिवालय नबन्ना में कहा, ‘इन सामूहिक संस्थानों की कोई कानूनी कीमत नहीं है। वामपंथियों और कर्मचारियों के बीच विशिष्ट सेवा पदों के संदर्भ में चर्चा का विषय है। यदि कोई व्यक्तिगत सरकारी सेवा छोड़ना चाहता है, तो नीचे दी गई सेवा के आधार पर किसी व्यक्ति विशेष को लिखना होगा। इस तरह के सामान्य पत्र की कोई कानूनी वैधता नहीं है।’
इस बीच, शहर के 4 और निजी प्राइवेट प्राइवेट लिमिटेड (बीएम बिड़ला, वुडलैंड्स, पियरलेस और कोठारी) के समर्थकों ने सोमवार और मंगलवार को आंदोलनकारी जूनियर कार्यकर्ताओं के समर्थन में गैर-जरूरी सेवाओं से दूर रहने का खतरा पैदा कर दिया है। उन्होंने कहा कि विरोध की स्थिति को बाहरी सहित सभी गैर-आपातकालीन कार्यों को 2 दिनों में समाप्त नहीं किया जाएगा और भविष्य की कार्रवाई पर 15 अक्टूबर को निर्णय लिया जाएगा।