केरल में गुपचुप चल रहा था, पुलिस को लगी स्केटबोर्ड, फेसबुक-गूगल पर लिया गया सख़्त एकादशन!
गूगल और मेटा को केरल पुलिस ने नोटिस जारी किया है।केरल पुलिस ने फर्जी लॉटरी केस में यह एक कदम उठाया।इन प्लेलेट फॉर्म पर एड के माध्यम से लोगों को ठगा जा रहा था।
नई दिल्ली. फेसबुक, इंस्टाग्राम और सिलिकॉन की मूल कंपनी मेटा और गूगल को लेकर केरल पुलिस ने एक नोटिस जारी किया है। यह नोटिस एक क्राइम से जुड़े मामले में जारी किया गया है. दरअसल, इन दो बड़ी कंपनियों के जरिए क्रिमिनल लोगों को एक बड़ा स्टॉक बेचने का मौका मिला। सबसे पहले फेसबुक, क्रोमाग्राम और गूगल पर एड में बेवकूफ बनते हैं, मदद से भोले-भाले लोग ऑनलाइन फर्जी लॉटरी के जाल में फंस जाते हैं। बाद में मदरसा नोट ली चली गईं।
अब केरल पुलिस ने फेसबुक, इंस्टाग्राम और नेटफ्लिक्स के लिए मेटा और इंजन सर्च के लिए गूगल पर नोटिस जारी किया है। इन दोनों कंपनियों के सहयोगियों ने कहा कि वो इस तरह के एड ना थे जो लोगों को ठगने वाले थे। गूगल को अपने प्ले स्टोर से उन ऐप को हटाने के लिए कहा गया है जो मार्टिएट द्वारा संचालित लॉटरी के नाम पर ऑनलाइन फर्जी लॉटरी बेच रहे हैं।
फेसबुक-मेटा को नोटिस…
राज्य पुलिस मीडिया सेंटर (एसपीएमसी) ने बुधवार को एक मॉनिटर में कहा कि ‘मेटा’ ने भी अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म फेसबुक, व्हाट्सएप और इंस्टालेशन से ऐसी फर्जी लॉटरी का विज्ञापन हटाने के लिए इसी तरह का नोटिस जारी किया है। एसपीएमसी के अनलॉक में कहा गया है कि साइबर क्राइम के दौरान पता चला कि 60 फर्जी लॉटरी ऐप, 25 फर्जी फेसबुक प्रोफाइल और 20 वेबसाइट से जुड़े हुए हैं, जिसके बाद पुलिस ने यह कार्रवाई की।
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बज़ेट सरकार की लॉटरी होने का…
इसमें कहा गया है कि धोखाधड़ी में शामिल लोगों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी। पुलिस को दिए गए बयान में कहा गया है कि ‘केरल मेगामिलियन लॉटरी’ और ‘केरल समर सीजन ब्लास्ट’ के नाम से फर्जी विज्ञापन पिछले कुछ समय से व्हाट्सऐप, टेलीग्राम और सांख्यिकी जैसे सोशल मीडिया मंचों पर प्रसारित किए जा रहे हैं और कहा गया है कि राज्य सरकार द्वारा संचालित लॉटरी ऑफ़लाइन उपलब्ध है। इसमें कहा गया है कि लोगों को उनके फोन पर यह संदेश भी दिया गया है कि केरल सरकार ने ऑनलाइन लॉटरी की शुरुआत की है और 40 रुपये खर्च कर 12 करोड़ रुपये तक जीतने का मौका दिया है।
5 लाख का नाम रिवाइवल पर…
लॉटरी में कहा गया है कि बाद में, जब ड्र का समय समाप्त हो गया, तो ठगों ने धोखाधड़ी के आरोप लगाए, जो दिखाते हैं कि लॉटरी मेकर ने पांच लाख रुपये का पुरस्कार जीता है। इसके बाद, सरकारी प्रतिनिधि प्रतिनिधि किसी विशिष्ट पीड़ित को कॉल करता है और ‘टिकट धारक’ से पुरस्कार राशि प्राप्त करने के लिए ‘जीएसटी’ और ‘स्टांप कर्तव्य’ के लिए एक निश्चित राशि बैंक में स्थानांतरण करने के लिए कहता है। मान्यता प्राप्त राशि को वैध बनाने के बाद, उन्होंने यह दावा करते हुए अधिक याचिका की मांग की है कि आरबीआई ने पुरस्कार राशि रोक ली है।
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प्रथम प्रकाशन : 21 अगस्त, 2024, 20:11 IST