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खेतों में करते हैं काम तो आंख में केमिकल या तिनका जाने पर कभी ना करें ये गलती, आंखों को हमेशा के लिए हो सकता है नुकसान

रिपोर्ट- हीना आजमी

देहरादून: खेतों में काम करने वाले किसानों की आंखों में क़ई तरह की दिक्कतें हो जाती हैं जिनमें वह लापरवाही बरतते हैं. इससे कई बार उनकी आंखों की रोशनी भी जा सकती है. फसल लगाने, कटाई-मिंजाई करने के वक्त उनकी आंखों में भूसा चला जाता है या नुकीली घास, मिट्टी चली जाती है. इसके बाद वह रगड़ते हैं जिससे कॉर्निया पर बुरा असर पड़ता है. इसलिए खेत में काम करने के दौरान किसानों को कुछ सावधानियां बरतनी चाहिए.

उत्तराखंड की राजधानी देहरादून के दून मेडिकल कॉलेज अस्पताल की नेत्र रोग विशेषज्ञ डॉ हिमानी पाल ने लोकल 18 को जानकारी देते हुए कहा कि वैसे तो सामान्य सभी लोगों को अपनी आंखों का खास ख्याल रखना चाहिए लेकिन खेतों में काम करने वाले किसानों की आंखों पर कई सारे तत्व गलत प्रभाव डालते हैं जैसे जब वह खेत में काम करते हैं तो उनकी आंखों में मिट्टी या भूसा और कूड़ा करकट गिर जाता है.
जानकारी के अभाव में वह अपनी आंखों को मसलने लगते हैं इससे उनकी कॉर्निया में छेद होने का खतरा होता है.

ऐसा कुछ होने पर किसान बिना चिकित्सक के परामर्श के अपने नजदीकी केमिस्ट से दवाइयां ले लेते हैं. दुकानदार आंखों में लालीपन देखकर आई स्टेरॉयड दे देता है जिससे इन्फेक्शन कम होने के बजाय और बढ़ जाता है और किसानों की आंखों पर गलत नुकसान होता है.

आंखों में कीटनाशक गिर जाने पर करें ये काम
डॉ हिमानी पाल ने बताया कि कई बार किसान जब अपनी फसलों पर रसायनों का छिड़काव करते हैं तो उनकी आंखों में यह चला जाता है ऐसे में वह साफ पानी से आंखों को धो लें. ऐसा होने पर तुरंत अपने नजदीकी नेत्र रोग विशेषज्ञ के पास जाएं और आंखों का टेस्ट करवाएं.

उन्होंने कहा कि खेतों में काम करने के दौरान किसानों को सफेद प्रोटेक्टिव प्लास्टिक के चश्मे लगाने चाहिए. इसके अलावा हाथों पर अगर मिट्टी लगी होती है तो बिना हाथ धोएं अपनी आंखों पर इन्हें न लगायें.

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